Bangladesh News: एक हिंदू और दूसरा मुसलमान, दोनों का कत्ल, बांग्लादेश से आईं दो तस्वीरें, अब देखिए यूनुस का दोगलापन

Bangladesh News: बांग्लादेश में दो मौतें आजकल चर्चा में है. एक हिंदू युवक दीपू चंद्र दास और दूसरा उस्मान हादी. एक को भीड़ ने मारा तो दूसरे को अज्ञात ने गोली मार दी. मगर बात जब दोनों परिवारों को सांत्वना देने की आई तो मोहम्मद यूनुस ने अपना दोगलापन दिखा दिया. जी हां, हाल के दिनों में दो हत्याओं ने अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस की दोहरी नीति को उजागर कर दिया है. चलिए जानते हैं कैसे.

Bangladesh News: मोहम्मद यूनुस को भले नोबेल का शांति मिला हो, मगर उनकी हरकतें कट्टरपंथी हैं. वह बांग्लादेश को कट्टरपंथ के रास्ते पर ले जा रहे हैं. वह बांग्लादेश को खिलाफत राष्ट्र बनाना चाहते हैं. हिंदुओं पर जुल्म कर यूनुस बांग्लादेश में जिहादियों की फौज खड़ी कर रहे हैं. आज उसका नतीजा बांग्लादेश भुगत रहा है. बांग्लादेश हिंसा की आग में जल रहा है. मोहम्मद यूनुस की फैलाई इस चिंगारी में केवल हिंदू ही नहीं, मुसलमान भी जल रहे हैं. यही कारण है कि हाल के दिनों में बांग्लादेश में दो कत्लेआम हुए. एक हिंदू लड़के दीपू चंद्र दास को भीड़ ने मारा तो दूसरा उस्मान हादी की हत्या हो गई.

अब बांग्लादेश से ही आई दो तस्वीरों से देखकर समझ आता है कि मोहम्मद यूनुस हिंदुओं के प्रति किस तरह नफरत से भरे हैं.
जी हां, बांग्लादेश में हाल के दिनों में दो हत्याओं ने अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस की दोहरी नीति को उजागर कर दिया है. आम भाषा में कहें तो यूनुस का दोगलापन साफ दिख गया है. एक तरफ हिंदू युवक दीपू चंद्र दास की ब्लासफेमी के आरोप में भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या कर दी गई. वहीं दूसरी तरफ, छात्र नेता शरीफ उस्मान हादी की गोली मारकर हत्या कर दी गई, जिसने देश में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन भड़का दिए. अब मोहम्मद यूनुस को यहीं पर एक राष्ट्राध्यक्ष के तौर पर खुद को न्यूट्रल रखने की जरूरत थी. मगर उन्होंने ऐसा नहीं किया. उन्होंने अपने वोट बैंक की खातिर मुस्लिम पक्ष को खुश कर दिया.

देखिए यूनुस का दोगलापन
दरअसल, मोहम्मद यूनुस ने उस्मान हादी के अंतिम संस्कार में व्यक्तिगत रूप से शिरकत की. यहां उन्होंने शोक व्यक्त किया और तस्वीरें साझा कीं. मगर बात जब हिंदू युवक दीपू की आई तो उन्होंने उसके परिवार से मिलना भी मुनासिब नहीं समझा. मोहम्मद यूनुस ने दीपू के परिवार से मिलने के लिए अपना शिक्षा सलाहकार प्रोफेसर सी आर अब्रार को भेजा. यह दिखाता है कि कैसे यूनुस बांग्लादश में हिंदू और मुसलमान में फर्क कर रहे हैं. ये दो तस्वीरें (एक यूनुस की हादी के अंतिम संस्कार में मौजूदगी और दूसरी उनके प्रतिनिधि की दीपू के घर पर मौजूदगी) साफ तौर पर उनके दोगलेपन को दिखाती हैं. हिंदू परिवार के लिए यूनुस ने महज औपचारिकता निभाई, जबकि मुसलमान हादी के लिए यूनुस खुद दौड़ गए.

बांग्लादेश अब पहले वाला नहीं रहा
इससे साफ होता है कि मोहम्मद यूनुस को शह पर ही बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार हो रहे हैं. अब तक दीपू के कातिलों पर यूनुस सरकार का एक्शन नहीं दिखा है. दीपू को करीब 140 लोगों ने घेरकर मारा था. मगर एफआईआर में केवल 6 लोगों के नाम दर्ज किए गए. इससे साफ होता है कि यूनुस सरकार हिंदुओं के प्रति किस तरह से नफरत से ग्रसित है. हालांकि, यह नई बात नहीं है. मोहम्मद जब से पिछले साल अगस्त 2024 से सत्ता में आए हैं, तब से ही वह हिंदू विरोधी चीजें कर रहे हैं.

यूनुस राज में हिंदू सेफ नहीं
मोहम्मद यूनुस के शासन में हिंदुओं पर अत्याचारों में तेजी आई है. शेख हसीना के इस्तीफे के बाद से अगस्त 2024 से दिसंबर 2025 तक 2100 से ज्यादा हमले दर्ज हुए. इनमें घरों पर आगजनी, मंदिरों की तोड़फोड़ और हत्याएं शामिल हैं.
हिंदुओं पर रोज हमले हो रहे हैं, मगर यूनुस सरकार के पास उनके प्रोटेक्शन का कोई प्लान नहीं है. अव्वल तो यूनुस ही खुद कट्टरपंथियों को बढ़ावा दे रहे हैं. वह पाकिस्तान और आईएसआई के इशारे पर जिहाद करवा रहे हैं.
अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय ने यूनुस सरकार पर निष्क्रियता का आरोप लगाया है, जबकि संयुक्त राष्ट्र और ब्रिटेन की रिपोर्ट्स में चेतावनी दी गई है कि कट्टरपंथी तत्वों ने कानून व्यवस्था की कमजोरी का फायदा उठाया.
भारत में भी दीपू की हत्या पर विरोध प्रदर्शन हुए, जहां यूनुस पर हिंदुओं की सुरक्षा में विफलता का आरोप लगाया गया.

Source of News:- news18.com

यूनुस ने रिश्तों की लगाई लंका
मोहम्मद यूनुस के कारण ही भारत और बांग्लादेश के रिश्तों में खटास आ गई है. जिस भारत ने कभी बांग्लादेश की आजादी में अहम भूमिका निभाई थी, उसी भारत को यूनुस अब पाकिस्तान के इशारे पर आंख दिखा रहे हैं. इधर, शेख हसीना ने भी यूनुस को भारत-बांग्लादेश संबंधों में तनाव का जिम्मेदार ठहराया है. शेख हसीना का भी दावा है कि यूनुस के राज में अल्पसंख्यकों यानी हिंदुओं पर हिंसा बढ़ी है. यूनुस भले ही इन आरोपों से इनकार करते हों, मगर उनकी हरकतों से साफ हो गया है कि वह किस कदर हिंदुओं को फॉरग्रांटेड ले रहे हैं.

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